
बरेली: मीरगंज तहसील के गुलड़िया गांव में सोमवार दोपहर उस समय हड़कंप मच गया जब खेतों में अचानक भीषण आग भड़क उठी। आग इतनी तेजी से फैली कि देखते ही देखते लगभग 40 बीघा में खड़ी गेहूं की फसल जलकर राख हो गई। किसान अपनी मेहनत की कमाई को यूं खाक होता देख स्तब्ध रह गए।
घटना की जानकारी मिलते ही गांव में अफरा-तफरी मच गई। ग्रामीण बाल्टियाँ, पाइप, ड्रम लेकर खेतों की ओर दौड़े, कई किसानों ने अपने ट्यूबवेल चालू कर दिए, लेकिन आग की लपटों और तेज़ हवा के सामने उनके सारे प्रयास विफल रहे।
किसान सानू को भारी नुकसान
जानकारी के अनुसार आग किसान सानू के खेत में लगी थी, जहां कुल 50 बीघा गेहूं की फसल खड़ी थी। आग ने 40 बीघा से अधिक क्षेत्र को अपनी चपेट में ले लिया। सानू ने बताया कि इस फसल से उन्हें करीब 5 लाख रुपये की आय की उम्मीद थी, लेकिन अब सबकुछ जलकर खत्म हो गया।
संभावित कारण: लापरवाही
स्थानीय लोगों और प्रशासनिक अधिकारियों के अनुसार आग लगने का प्राथमिक कारण किसी राहगीर द्वारा फेंकी गई जलती बीड़ी, सिगरेट या माचिस की तीली हो सकता है। सूखी फसल और गर्म हवाओं ने आग को और विकराल बना दिया।
प्रशासन की तत्परता
घटना की सूचना पर थाना मीरगंज पुलिस और राजस्व विभाग की टीम मौके पर पहुंची। लेखपाल द्वारा नुकसान का प्रारंभिक आंकलन किया गया। फायर ब्रिगेड की दो गाड़ियाँ भी मौके पर पहुंचीं और काफी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया गया।
कई किसानों की उम्मीदें जलीं राख में
ग्रामीणों के अनुसार, यह फसल उनकी साल भर की मेहनत और कमाई का सहारा थी। मौसम अनुकूल होने के कारण इस बार अच्छी उपज की उम्मीद थी, लेकिन आग ने सबकुछ छीन लिया। कई किसानों की आंखों में आंसू थे, तो कुछ मलबे में बचे गेहूं के दानों को देखने की उम्मीद में खेतों की ओर ताकते रहे।
प्रशासन से मुआवज़े की मांग
किसानों ने जिला प्रशासन से मांग की है कि पीड़ितों को जल्द से जल्द वाजिब मुआवजा दिया जाए, ताकि वे अगली फसल की तैयारी कर सकें।
रिपोर्ट
सुनील सिंह उत्तर प्रदेश स्टेट हेड