
शीशगढ़, बरेली
रिपोर्टर ओमवीर सिंह
मा मुख्यमंत्री के अपर मुख्य सचिव श्री एस पी गोयल कार्यालय मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश लोक भवन लखनऊ ने पत्र जारी कर सूबे के सभी मण्डल आयुक्त तथा जिला अधिकारियों को निर्देशित किया है कि अब से जमीन से जुड़े राजस्व विभाग के मामलों का निस्तारण नायाब तहसीलदार करेंगे।
राज्य सरकार ने जमीन से जुड़े राजस्व मामलों की जांच का अधिकार लेखपालों से छीन कर नायाब तहसीलदारों को सौंपा है।
श्री गोयल की ओर भेजे गए पत्र में निर्देश दिए गए हैं कि मा मुख्यमंत्री जी के जनता में प्राप्त शिकायतों के निस्तारण में राजस्व सम्बन्धित सभी प्रकरणों में लेखपालों से ही आख्या प्राप्त कर उसे अग्रसारित कर दिया जाता है जिसमें अधिकांश समस्याओं का निष्पक्षता के साथ प्रभावी निस्तारण नहीं हो पाता है।
पत्र में आगे कहा गया है कि हमने सम्यक विचारोपरांत यह निर्णय लिया है कि जनता दर्शन में राजस्व सम्बन्धी समस्त मामलों को नायाब तहसीलदार से न्यून स्तर का कोई अधिकारी जांच नहीं करेगा । नायाब तहसीलदार ध्दारा अभिलेखीय/स्थलीय स्थिति देखकर व शिकायतकर्ता को सुनकर विवेक से विधिनुकूल निस्तारण किए जाने हेतु आख्या दी जाए जिस पर उप जिलाधिकारी द्वारा निर्णय लेकर समाधान कराने के उपरांत आख्या अपलोड की जाए। प्रार्थना पत्रों के प्रेषण का उद्देश्य यह है कि दोनों पक्षों में विधिक /वास्तविक स्थिति पर समाधान कराने का पूर्ण प्रयास किया जाए मात्र यथा स्थिति से अवगत करा देना पर्याप्त नहीं है।
भविष्य में दिए दिशा निर्देश का पालन करते हुए शिकायतों का निस्तारण पूरी निष्ठा के साथ सुनिश्चित होना चाहिए।